प्राणायाम के कुछ फायदे (Benefits of Pranayam)
प्राणायाम के बहुत सारे फायदे होते हैं और उनमें से कुछ आप महसूस कर सकते हैं और कुछ नहीं | ईश्वर ने हम सबको एक आन्तरिक असीम शक्ति दी है, और यदि इसका उचित प्रयोग किया जाय तो सभी उससे स्वास्थ्य और समृद्धि में प्राणायाम से फायदा उठा सकते हैं | प्राण वातावरण में उपलब्ध आक्सीजन मात्र ही नहीं है परंतु जो हवा हम सांस के रूप में लेते हैं वह अदृश्य उर्जा से भरपूर होती है |
यहां पर प्राणायाम के सभी गुणों को लिखना सम्भव नहीं है लेकिन हम यह कह सकते हैं कि इसके द्वारा मानसिक शान्ति मिलती है और तनाव से छुटकारा मिलता है |
प्राणायाम के कुछ फायदे (Benefits of Pranayam)
(1) सांस लेने की दर में कमी
योगा और प्राणायाम के लगातार अभ्यास से आप धीमी और गहरी सांस ले सकते हैं | आप अपने सांस लेने की गति को 16 प्रतिमिनट से घटाकर 5 प्रति मिनट तक कर सकते हैं | सांस लेने की दर घटने के निम्न फायदे हैं-
> हृदय गति (Heart Rate) कम हो जायेगा क्योंकि हृदय को ज्यादा आक्सीजन मिलेगी और वह भी कम बार सांस लेने पर | सांस लेने और छोड़ने के 1:2 का अनुपात होना अच्छा है |
> शरीर के अन्दर के अंगो को स्वास्थ्य रखने के लिए कम कार्य करना पड़ेगा, इसलिए बीमारी कम होगी |
> रक्तचाप (Blood Pressure) कम होगा, शरीर में तनाव कम होगा और nerves रिलैक्स रहेगी |
(2) प्राणायाम से आयु में वृद्धि
योग दर्शन के अनुसार, ज्यादा उम्र सांस लेने की गति पर निर्भर करती है | सांस लेने की दर यदि कम हो जाए तो मनुष्य की उम्र भी बढ़ जाती है |
उदाहरण के तौर पर कछुवा 1 मिनट में 4-5 बार सांस लेता है और 200 साल या उससे अधिक जीता है | जबकि मनुष्य 1 मिनट में 15-16 बार सांस लेता है लगभग 100 साल तक जीता है |
(3) Blood Circulation में सुधार
गहरी सांस लेने से अधिक मात्रा में आक्सीजन हमारे खून में बहती है हृदय इस खून को रक्त वाहिनियों (Blood Vessels) के द्वारा पूरे शरीर की प्रत्येक कोशिका (Cell) को पहुंचाता है | इससे पूरे शरीर में खून के साथ आक्सीजन (प्राण वायु) अधिक बहती है जिसके सेल्स का क्षय (Decay) बहुत कम हो जाता है जो कि आयु बढ़ाने का मुख्य कारण है |
(4) हृदय के स्वास्थ्य के लिये प्राणायाम
हृदय (heart) हमारे शरीर का सबसे जटिल और व्यस्त अंग है | यह पूरे दिन में लगभग 1 लाख (1,00,000 ) बार धड़कता है और पूरे शरीर में लगातार रात-दिन खून का संचार करता है | हृदय का स्वास्थ्य ही मनुष्य के जीवन और अन्य शरीर सम्बन्धी स्वास्थ्य का निर्धारण करता है | अधिक उम्र होने पर इसका स्वास्थ्य रहता ज्यादा महत्वपूर्ण है | खून में ज्यादा आक्सीजन होने का सीधा मतलब है हृदय की muscles को अधिक आक्सीजन और यह आक्सीजन पूरे हृदय को स्वस्थ रखने में योगदान कर सकता है |
(5) शरीर के अंगो को बेहतर काम करने में प्राणायाम से फायदे
इसके बहुत सारे फायदे हैं लेकिन कुछ महत्वपूर्ण अंगो के बारे में हम आपको नीचे बता रहे हैं-
> पूरा system जब सही काम करता है तो हमारे फेफड़े, हृदय, पेट, आंत, किडनी और pancreas स्वस्थ रहते हैं और सही कार्य करते हैं |
> पूरा पाचन तंत्र मजबूत और स्वस्थ रहता है | इसके साथ पाचन से सम्बन्धी सभी प्रकार के रोगों से निजात मिलती है |
> चिड़चिड़ापन, थकान और आलस्य दूर भागते है इसके फलस्वरूप आप अपने कार्य अधिक efficiency से कर पाते हैं |
> प्राणायाम से शरीर के सभी अंग अधिक आक्सीजन पाते है इसलिए शरीर से सभी विषैले पदार्थ (toxins) बाहर निकल जाते हैं | इस वजह से जो रोग आपको होने वाले होते हैं वह कभी नहीं होते | प्राणायाम से पूरे शरीर प्रतिरोधक क्षमता (Immune System) बढ़ती है जो कि शरीर को रोगों से बचाता है |
(6) प्राणायाम से पायें बेहतर मानसिक स्वास्थ्य
> प्राणायाम आपको नकारात्मक विचारों से मुक्त करता है और साथ ही गुस्सा, तनाव, अवसाद, लालच, घमण्ड, जैसे शरीर को नुकसान पहुँचाने वाली मानसिक स्थितियों से भी बचाता है |
> प्राणायाम आपके मन की चंचलता को कम करता है जिससे आपको ध्यान लगाने में मदद मिलती है |
> प्राणायाम से आप अपने को शरीर हल्का महसूस करेंगे, आन्तरिक शान्ति महसूस होगी, अच्छी नींद आयेगी, याददाश्त अच्छी होगी और एकाग्रता (concentration) में भी वृद्धि होगी |
(7) अधिक उम्र में पायें अच्छा जीवन
जो लोग कम शारीरिक श्रम करते हैं तो उनके फेफड़े का विकास अधिक नहीं होता और बेहद कमजोर हो जाता है | इसलिए ऐसे लोगों के फेफड़े शक्त हो जाते हैं जिससे सांस लेने की क्षमता घट जाती है | बढ़ी उम्र में ऐसे लोगों लिए प्राणायाम कुछ समस्याओं में लाभकारी हो सकता है जैसे-
> शरीर में शक्ति और उर्जा की कमी |
> रक्त में यूरिक एसिड (uric acid) के इकट्ठा होने से जोड़ों में दर्द और बेचैनी होती है जोकि प्राणायाम से नियंत्रित (control) कर सकते हैं |
> पीठ दर्द, सिर दर्द, खून की कमी, muscle में जकड़न, जोड़ों की जकड़न में प्राणायाम से मदद मिलती है |
> खून की नलियों में परेशानी (hardening of arteries) की वजह से खून सही तरीके पूरे शरीर में नहीं फैल पाता है जोकि प्राणायाम से ठीक हो जाता है |
इसलिए आप प्राणायाम को अपनी दिनचर्या में शामिल करें और बिना किसी break के रोजाना करें | इसके फायदे आप तभी अनुभव कर पायेगे जब आप स्वयं करेंगे |